Importance of cleanliness in hindi

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importance of cleanliness in hindi | importance of cleanliness

स्वच्छता इतनी आवश्यक क्यों हैं ? (Why is cleanliness so important ?)

स्वच्छ भारत का इरादा,

इरादा कर लिया हमने !

देश से अपने वादा,

वादा यह कर लिया हमने !!

Introduction to importance of cleanliness in hindi

स्वच्छता का हमारे जीवन में काफी ज्यादा महत्व हैं। आजकल हम देखते हैं हमारे चारों ओर गंदगी का अंबार लगा होता हैं। हमें एक अच्छे वातावरण में रहने के लिए स्वच्छता का होना बहुत आवश्यक हैं। साफ-सफाई कोई ऐसा काम नहीं है जो पैसा कमाने के लिए किया जाना चाहिए, बल्कि यह एक अच्छी आदत है जिसे हमें अच्छे स्वास्थ्य और स्वस्थ जीवन के लिए अपनाना चाहिए। स्वच्छता एक पुण्य का कार्य है जिसका पालन प्रत्येक व्यक्ति को जीवन स्तर को ऊपर उठाने के लिए एक बड़ी जिम्मेदारी के रूप में करना चाहिए।

स्वास्थ्य और स्वच्छता

हमारे स्वास्थ्य और स्वस्थ जीवन जीने के लिए आसपास के वातावरण का स्वच्छ होना आवश्यक है। वास्तव में स्वास्थ्य और स्वच्छता एक दूसरे से जुड़े हुए हैं। अच्छा स्वास्थ्य पाने के लिए स्वच्छता का अभ्यास करना चाहिए। अच्छे स्वास्थ्य को बनाए रखने और बीमारियों को रोकने का अभ्यास करना आवश्यक है।स्वच्छता मानव जीवन के लिए उतनी ही जरूरी है जितना कि जीने के लिए पानी। जैसे भोजन, पानी, ऑक्सीजन और अन्य चीजें हमारे अस्तित्व के लिए महत्वपूर्ण हैं, वैसे ही स्वच्छता भी हमारे स्वस्थ शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है।

महात्मा गांधी का स्वच्छता में योगदान

महात्मा गांधी जी ने स्वच्छता के लिए न सिर्फ व्यावहारिक पहलें कीं, अपितु व्यावहारिक सीख भी दी। स्वच्छता के लिए उन्होंने जनसहभागिता और जनजागरूकता पर विशेष बल दिया और साफ-सफाई के लिए आत्म-प्रेरित प्रयासों को आवश्यक माना। स्वच्छता को सामूहिक जिम्मेदारी बताते हुए उन्होंने यह रेखांकित किया कि इसके लिए प्रत्येक व्यक्ति को चिन्ता करनी होगी और जिम्मेदारी लेनी होगी। स्वच्छता को चेतावनियों, कानूनों अथवा अध्यादेश जारी करके हासिल नहीं किया जा सकता। इसे आदत में शामिल करके ही हासिल किया जा सकता है।

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत महात्मा गांधी के 145वें जन्मजयंती, 2 अक्टूबर 2014 को राजघाट,दिल्ली मे शुरू किया गया था। इस अभियान ने विश्व स्तर पर लोगों को स्वच्छता का परिचय दिया और इसे अपनाया। इस मिशन की शुरुआत करने का मुख्य कारण गांंव ,कस्बो और शहरों को स्वच्छ बनाना है। इस मिशन को बढावा देने के लिये सरकार ने विभिन्न प्रकार के योजनाओ की शुरुआत की है। जैसे-

1) सभी घरो के लिये मुफ्त शौचालय देना

2) समय-समय पर पेड-पौधो का वितरण

3) कीटनाशक दवायों का छिडकाव।

4) हर वर्ष 2 अक्टूबर को स्वच्छता अभियान चलाना।

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हम अपने आस-पास के वातावरण को कैसे स्वच्छ रख सकते हैं ?

1)अपशिष्ट पदार्थों का निपटान  करें। अगर अपशिष्ट पदार्थ आ ठीक से प्रबंधन नहीं गया तो यह निमोनिया, पीलिया, और तपेदिक जैसी घातक बीमारियों का प्रकोप बढ़ा सकता है, क्योंकि महामारी का सबसे बड़ा कारण अपशिष्ट का सही से निपटान नहीं होता हैं।

2) हमेशा अपने घर और आस पास के वातावरण को साफ रखें। अपने शौचालय और किचन को साफ सुथरा रखें।

3) अत्यधिक प्रभावी किचन जैल बाजार में उपलब्ध हैं जो सफाई और कई जगहों को एन्टिबैक्टिरियल करने में मदद करते हैं। जो त्वचा परीक्षण किये गए और हाथों पर सुरक्षित हैं, उन्हें चुनें।

4) पास के आवासीय इलाकों में अपशिष्ट निपटान न करें।

5) कभी‌ भी सार्वजनिक स्थानों पर न थूकें,न पेशाब करें और‌ न हीं गंदा करें।

और आखिर में .…

इन सारी बातों को ध्यान में रखते हुए यह समझा जा सकता है की स्वच्छता हमारे लिए कितना जरूरी है।यह कहना गलत नही होगा की स्वच्छता हमारे जीवन का अभिन्न अंग बन गया है। जब ये सब स्वच्छ हो जायेंगे तो हमारा देश खुद वो खुद स्वच्छ हो जायेगा जो की हमारे लिए एक सम्मानजनक से भरा हुआ गर्व की बात है।

एक स्वच्छ व्यक्ति न केवल अपने वो अपने परिवार या देश आदि सभी के स्वच्छता के बारे में सोच कर उनके अच्छे होने की कामना करता है। उनकी आमदनी भले ही कम क्यों न हो परंतु अपनी मानसिक स्वच्छता सोच के कारण एक अच्छे व्यक्ति की श्रेणी में अपना स्थान बना लेता है। व्यर्थ की बीमारियों को बढ़ावा देने से अच्छा है कि हम स्वच्छता संबंधित नियम कायदों का पालन करें। यदि हम स्वच्छता के प्रति पूर्ण रूप से जागरूक हो गए,तो स्वच्छता के साथ-साथ देश की प्रगति भी जोरदार होगी। हम सभी एक जिम्मेदार नागरिक बनें और अपने देश की सफलता में अपना योगदान दें।

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